कर्दमपुरी वार्ड बाबरपुर विधानसभा का सबसे हॉट वार्ड बनने जा रहा है।। नए परिसीमन में नए जोश के साथ यह वार्ड जो पूर्व में बाबरपुर वार्ड के नाम से जाना जाता था, यह वार्ड 2 बार SC रिज़र्व और 3 बार महिला के बाद पहली बार सामान्य हुआ है।
1997 में भाजपा के शिवदत्त हरित, 2002 में कांग्रेस के ईश्वर बागड़ी, 2007 में भाजपा से विमला शर्मा, 2012 में निर्दलीय रेखा वशिष्ठ और 2017 में भाजपा से कुसुम तोमर इस सीट पर पार्षद रहे है।। कर्दमपुरी सीट भाजपा की कैडर बेस सीट मानी जाती है।। ब्राह्मण, बनिया और ठाकुर जाति का इस सीट पर बहुमत है।।
इस बार निगम चुनाव में रेखा वशिष्ठ और कांग्रेस के युवा उम्मीदवार संजय गौड़ के उतरने से मुकाबला चतुरकोणीय बन चुका है।। पिछली बार त्रिकोणीय मुकाबले में भाजपा की कुसुम तोमर यहाँ से जीती थी दूसरे नंबर पर कांग्रेस की रेखा वशिष्ठ और आप यहाँ तीसरे नंबर पर थी।। कांग्रेस और आप दोनों ने पिछली बार ब्राह्मण उम्मीदवार दिए थे।।
इस बार नए परिसीमन में इस वार्ड में करीब 13 हज़ार मुस्लिम भी आ गए है।। आप, कांग्रेस और रेखा वशिष्ठ तीनो मुस्लिमो को अपने पक्ष में मान रहे है।
65000 मतों वाली इस सीट पर 65% वोटिंग की उम्मीद है।। जीतने वाले उम्मीदवार को करीब 16 से 17 हज़ार वोट जरूर लेने होंगे।।
इस वार्ड में ब्राह्मण 22 हज़ार वोट के साथ बहुतायत में है।।
किसी पार्टी और उम्मीदवार से ब्राह्मण तो किसी उम्मीदवार से ठाकुर नाराज नज़र आते दिख रहे है।।
बनिया और जैन समाज जिनकी संख्या 11 से 12 हज़ार है मुकेश बंसल के लिए लामबद होते नज़र आ रहे है।। आम आदमी पार्टी अपने कैडर के दम पर और केजरीवाल के कामो पर वोट मांग रही है। अनुसूचित जाति और ब्राह्मणों पर रेखा वशिष्ठ की अच्छी पकड़ मानी जा रही है।। कांग्रेस के उम्मीदवार संजय गौड़ ब्राह्मण, युवा और मुस्लिमो पर अपना दावा ठोक रहे है।। लेकिन किसी भी उम्मीदवार के लिए केवल एक जाति और समाज के वोट से जीतना मुमकिन नही है।