पटना / मोतिहारी : कानपुर में हुए ट्रेन हादसे के बाद आतंकियों के निशाने पर दिल्ली और इंदौर था. मोतिहारी में हुई गिरफ्तारी के बाद कुछ ऐसे और चौंका देने वाले अहम खुलासे हुए हैं, जिसने जांच एजेंसियों की नींद उड़ा दी है. जानकारी के मुताबिक दिल्ली और इंदौर में ट्रेनों में बम बलास्ट करने की प्लानिंग की जा रही थी. इस काम में तीस सिमी के आतंकी लगे हुए थे. मोतिहारी से गिरफ्तार हुए आतंकी मोती पासवान ने जांच एजेंसियों के सामने खुलासा किया है. मोती ने जांच एजेंसियों को बताया है कि कानपुर हादसे के बाद दिल्ली और इंदौर में सीरियल बम विस्फोट करने की साजिश रची गयी थी. दिवाली के मौके पर देश में बड़ा धमाका करने की प्लानिंग थी. मोती के मुताबिक पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आइएसआइ की मंशा थी कि इस तरह की घटना को अंजाम दिया जाये ताकि देश में भूचाल आ जाये. मोती ने बताया कि घोड़ासहन में आइडी विस्फोट नहीं होने की वजह से कानपुर के पास पुखरायां में साजिश को अंजाम दिया गया.
साजिश का परत-दर-परत हो रहा खुलासा
खुफिया सूत्रों के मुताबिक गिरफ्तार मोती से लंबी पूछताछ में कई बातों का खुलासा हुआ है. बताया जा रहा है कि आतंकी साजिश को रचने वाले एक और मास्टरमाइंड शमशुल की गिरफ्तारी के बाद कई राज सामने आ सकते हैं. सूत्रों के मुताबिक विस्फोट और घटनाओं को अंजाम देने के लिये उसकी व्यवस्था और पैसे की फंडिंग शमशुल करता था. जांच एजेंसियों को शमशुल की गिरफ्तारी के बाद कई सवालों से जूझना होगा. जानकारी के मुताबिक शमशुल अभी दुबई में है और उसे भारत लाना एजेंसियों के लिये एक बड़ा टास्क है.
मोती को घटना अंजाम देने के लिये मिलते थे पैसे
गिरफ्तार मोती के मुताबिक उसे घटना को अंजाम देने के लिये बृजकिशोर की ओर से ऑफर मिला था. उसे तीन लाख रुपये देने का वादा कर मात्र पचास हजार नेपाली रुपये दिये गये. बाकी पैसे काम होने के बाद देने को कहा गया. पुलिस की माने तो मोती का माओवादी कनेक्शन भी पता चला है. वह कई नक्सली वारदातों में शामिल था. पुलिस उसके पुराने इतिहास को खंगालने में जुटी है. वहीं आरोपी बृजकिशोर को नेपाल पुलिस ने गिरफ्तार किया है. उसके भारत आने के बाद इस मामले में कई और चौंकाने वाले खुलासे हो सकते हैं.