नजरबंदी के बाद आतंकी हाफिज सईद पर पाकिस्तान में एक और कार्रवाई की है. पाकिस्तान ने सुरक्षा कारणों के तहत जमात-उद-दावा प्रमुख हाफिज सईद और उसके संगठनों के अन्य सदस्यों को जारी 44 हथियारों के लाइसेंस रद्द कर दिए हैं. पंजाब के गृह विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि यह कदम सईद और उसके संगठनों जमात-उद-दावा और फलाह-ए-इंसानियत के खिलाफ सरकार की कार्रवाई के अनुरूप उठाए हैं.
अधिकारी ने बताया कि पंजाब गृह विभाग ने सुरक्षा कारणों के तहत 44 हथियारों के लाइसेंस रद्द कर दिए हैं. सरकार ने 30 जनवरी को सईद और उसके चार अन्य सहयोगियों को 90 दिनों के काल के लिए लाहौर में नजरबंद कर दिया है. सईद और जमात और फलाह के 37 सदस्यों को एग्जिट कंट्रोल लिस्ट में डाल दिया गया है. इसके तहत उनके देश छोड़ने पर रोक है.पाकिस्तान का कहना है कि आतंकवाद-विरोधी कानून के तहत सूचीबद्ध किया गया जमात-उद-दावा प्रमुख हाफिज सईद देश के लिए एक गंभीर खतरा साबित हो सकता है और इसलिए देश के हित को ध्यान में रखते हुए उसे नजरबंद किया गया. मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड की ओर से देश पर मंडराने वाले खतरे को पाकिस्तान के रक्षा मंत्री ने जर्मनी स्थित म्यूनिख में एक अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा सम्मेलन के दौरान रेखांकित किया. द नेशन की खबर के अनुसार, आसिफ ने रविवार को म्यूनिख सुरक्षा सम्मेलन में मौजूद श्रोताओं से कहा, सईद समाज के लिए एक गंभीर खतरा पेश कर सकता है.
हाफिज सईद को लाहौर में 30 जनवरी को आतंकवाद रोधी कानून की चौथी अनुसूची के तहत घर में नजरबंद कर दिया गया था. इसके चलते उसकी पार्टी और सहयोगियों की ओर से काफी हंगामा किया गया था. सईद को इस सूची में रखे जाने का अर्थ है कि वह किसी न किसी तरह से आतंकवाद से जुड़ा है. इस माह की शुरूआत में सईद को एग्जिट कंट्रोल लिस्ट में डाला गया था, जो उसे देश छोड़कर जाने से रोकती है.